प्रमोद तिवारी का बीजेपी पर तंज, पूछा ‘आंध्र सरकार के फैसले पर अब क्या रुख अपनाएगी भाजपा?’

नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और राज्यसभा में उपनेता प्रमोद तिवारी ने आंध्र प्रदेश सरकार द्वारा रमजान के दौरान मुस्लिम कर्मचारियों को एक घंटा पहले छुट्टी देने के फैसले का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि संविधान हर नागरिक को अपने धर्म का पालन करने की आजादी देता है और अगर सरकार ने यह निर्णय सुविधा के लिए लिया है, तो इसमें कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए।

यह फैसला तेलंगाना में कांग्रेस सरकार द्वारा इसी तरह के निर्देश जारी करने के कुछ दिनों बाद आया है, जिसे बीजेपी ने ‘तुष्टिकरण की राजनीति’ करार दिया था। इस पर तिवारी ने बीजेपी पर कटाक्ष करते हुए कहा कि बीजेपी ने कांग्रेस और तेलंगाना सरकार की आलोचना की थी, लेकिन अब आंध्र प्रदेश में भी यही हुआ है, जहां बीजेपी समर्थित सरकार है। अब बीजेपी इस पर क्या रुख अपनाएगी और क्या अपनी ही सहयोगी पार्टी की आलोचना करेगी?

इसके अलावा, तिवारी ने मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार के कार्यभार संभालने को लेकर भी सरकार पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में चुनाव आयुक्तों की नियुक्ति प्रक्रिया को चुनौती दी गई थी, और अदालत ने इसे सुनवाई के लिए स्वीकार भी किया था। लेकिन सुनवाई से पहले ही सरकार ने नए मुख्य चुनाव आयुक्त को शपथ दिला दी, जिससे यह साफ होता है कि सरकार को सुप्रीम कोर्ट के फैसले का सम्मान नहीं है और कहीं न कहीं उसे डर भी है।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी द्वारा कुंभ मेले को ‘मृत्युकुंभ’ कहे जाने पर तिवारी ने भी प्रतिक्रिया दी।

उन्होंने कहा कि कुंभ भारत का एक पवित्र पर्व है, जिसे हजारों वर्षों से मनाया जाता रहा है। प्रयागराज के निवासी होने के नाते मैं पहली बार इस आयोजन का इतना अधिक राजनीतिकरण होते देख रहा हूं।

उन्होंने केंद्र और राज्य सरकारों के कुंभ मेले के दौरान कुप्रबंधन पर सवाल उठाए और कहा कि रेल, परिवहन और अन्य सुविधाओं की भारी अव्यवस्था के कारण यात्रियों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। उन्होंने प्रयागराज और आसपास के इलाकों में हुए हादसों और बढ़ती महंगाई की भी आलोचना की।

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