विरासत में अभिवृद्धि ही विकास, आने वाली पीढ़ी रखे संरक्षित : मुख्यमंत्री योगी
- चित्रगुप्त मंदिर स्थापना दिवस पर बोले सीएम योगी आदित्यनाथ
- समाज अपनी विरासत को भुलाकर नहीं बढ़ सकता आगे, न ही हो सकती है प्रगति
गोरखपुर। गोरखपुर स्थित श्री चित्रगुप्त मंदिर के स्थापना दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि भगवान चित्रगुप्त के आदर्श हमारे विरासत हैं। उनके मूल्यों को अपनाते हुए लोगों ने बहुत कार्य किया है। जमीन दान देने से लेकर अनेक सामाजिक सरोकार इसमें शामिल हैं।
उन्होंने कहा कि यह लोगों द्वारा भगवान चित्रगुप्त के आदर्शों को आत्मसात करने का फल ही है कि आज विराट चित्रगुप्त मंदिर तैयार है। अब यह लोक कल्याण का माध्यम बना है। अब हम अपनी इस विरासत पर गर्व कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि कोई भी समाज अपनी विरासत को भुलाकर आगे नहीं बढ़ सकता है। न ही प्रगति कर सकता है। उन्होंने चित्रगुप्त मंदिर निर्माण की चर्चा करते हुए कहा कि इसकी निरंतरता बनाये रखने अगली पीढ़ी का दायित्व है। इसका संरक्षण आने वाली पीढ़ियों को ही करना होगा। इसका दायित्व लेने के लिए उन्हें तैयार रहना होगा। हर पीढ़ी को अपनी विरासत में अभिवृद्धि करनी होगी। यह अभिवृद्धि ही विकास है। उन्होंने कहा कि विरासत से किसी वर्ग विशेष का विकास नहीं होता है, बल्कि यह समाज के समग्र विकास की आधारशीला होती है।
मुख्यमंत्री ने देश के पहले राष्ट्रपति डाॅ. राजेंद्र प्रसाद को याद करते हुए चित्रगुप्त समाज की धार्मिक आस्था का बखान भी किया। उन्होंने कहा कि डा. राजेंद्र प्रसाद ने इतने बड़े पद पर होने के बाद भी अपनी धार्मिक आस्था और परंपरागत विरसात को नहीं छोड़ा। स्वामी विवेकानद के उद्घोष गर्व से कहो हम हिन्दू हैं। सुभाष चंद्र बोस और पूर्व प्रधानामंत्री लाल बहादुर शास्त्री को याद करते हुए योगी ने कहा कि यह भारतीय विरासत के प्रति सम्मान की ही देन थी कि सबने अपनी बातों को कहने में कोई संकोच नहीं किया। उनमें राष्ट्रसेवा और राष्ट्रभक्ति की विरासत थी। भारतीयता के प्रति पूर्ण समर्पण का भाव था उनमें। इन पर हर भारतीय गर्व कर सकता है।